दिल्ली में आर्टिफिशियल वर्षा, क्लाउड सीडिंग का दूसरा कामयाब परीक्षण, कुछ घंटों में होगी वर्षा
नई दिल्ली. एनसीआर-दिल्ली में प्रदूषण से निपटने के लिये क्लाउड सीडिंग का एक और कामयाब ट्रायल हुआ है। अगले कुछ घंटों में अब वर्षा हो सकती है। मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने जानकारी दी कि यह ट्रायल एक सेसना प्लेन के जरिये किया गया है। प्लेन मेरठ से दिल्ली के लिये उड़ा था। यह क्लाउड सीडिंग खेकड़ा, बुराडी, मयूर बिहार और अन्य इलाकों में की गयी। इस पूरी प्रक्रिया में 8 फ्लेयर का उपयोग किया गया है। यह पूरा प्रोसेस करीब आधे घंटे तक चला है।
5 ट्रायल 3.21 करोड़ रूपये की लागत से होंगे
अधिकारियों ने कहा है कि क्लाउड सीडिंग परीक्षण एक व्यापक शीतकालीन प्रदूषण नियंत्रण रणनीति का हिस्सा है। इन्हें 5 चरणों में चलाया जायेगा। दिल्ली मंत्रिमंडल ने इस साल मई में 3.21 करोड़ रूपये की कुल लागत से ऐसे 5 परीक्षणों को मंजूरी दी थी। हालांकि बार-बार मौसम की खराबी की वजह से यह अभ्यास कई समय-सीमाओं तक खिंच गया। मई के अंत से जून, अगस्त, सितम्बर और मध्य अक्टूबर तक और अंततः इस सप्ताह ट्रायल सफल हो सका है।
क्लाउड सीडिंग कैसे होगी
आपको बता दें कि जब कोई विमान सिल्वर आयोडाइड या सोडियम क्लोराइड जैसे रासायनिक यौगिकों को बादलों में छोड़ता है तो यह कण संघनन के लिये नाभिक का काम करते हैं। जिससे पानी की बूंदें बनती है। वर्षा के रूप् में गिरती है।

