कोरोना में जमकर लूट, प्राइवेट अस्पतालों ने 3 गुना ज्यादा बिल बनाए तो बीमा कंपनियों ने एक महीने में 1287 करोड़ ज्यादा वसूले
नई दिल्ली. परिवार के सदस्य को खोने के बाद उसकी लाश के साथ यदि आपको लाखों का बिल थमा दिया जाए तो आप कैसा महसूस करेंगे। यह सोचने भर से रूह कांप जाती है। पर आप जानते है कि जब आप अस्पतालों में बेड ढूंढ रहे थे और ऑक्सीजन सिलेंडर के लिए लाइन में लगे थे तो प्राइवेट अस्पताल और इंश्योरेंस कंपनियां कितना मुनाफा कमा रही थीं। देश में बीमा कंपनियों को कंट्रोल करने वाली सबसे बड़ी संस्था आईआरडीएआई के अनुसार महामारी के दौरान अस्पताल ने इंश्योरेंस कंपनियों से तीन गुना ज्यादा हेल्थ क्लेम का पैसा वसूला है। वहीं इस आपदा के दौरान हेल्थ इंश्योरेंस कंपनियों की कमाई भी जमकर बढ़ी है। हम यहां बता रहे हैं कि प्राइवेट अस्पतालों और बीमा कंपनियों ने कोरोना के नाम पर हमें कैसे लूटा है।
प्राइवेट अस्पतालों ने महामारी के दौरान वसूले 3 गुना ज्यादा पैसे
दूसरी लहर में जब कोरोना ने हाहाकार मचाया, तो पूरे देश में सरकारी हेल्थ सिस्टम घुटनों के बल आ गया। ऐसे में अपनी जान बचाने के लिए लोग प्राइवेट अस्पतालों में पहुंचे। लेकिन, वहां उन्हें अपनी जान की कीमत भारी भरकम बिल चुका कर अदा करनी पड़ी। बीमा विनियामक और विकास प्राधिकरण की रिपोर्ट से खुलासा हुआ है कि अस्पतालों ने पहले की तुलना में बीमा कंपनियों से 3 गुना ज्यादा पैसे वसूले हैं।
कोरोना काल में बीमा कंपनियों ने एक मरीज पर एवरेज एक लाख की दर से अस्पतालों को पेमेंट किया है। जबकि 2018 में इंश्योरेंस कंपनियों ने एक मरीज पर एवरेज 39 हजार रुपए की दर से अस्पतालों को पेमेंट की थी। इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ पब्लिक हेल्थ, दिल्ली के एसोसिएट प्रोफेसर मयूर त्रिवेदी का कहना है कि महामारी के पहले और महामारी के बाद के डेटा के आधार पर यह रिपोर्ट तैयार की गई है। यह डेटा कुल क्लेम की संख्या और क्लेम के कुल पैसे के अधार पर निकाला गया है।