Newsमप्र छत्तीसगढ़राजनीतिराज्य

350 वर्ष पुराने हैं मोटे गणेश जी, 11 बुधवार को दर्शन करने से पूरी होती है मनोकामना

ग्वालियर. मंगलवार से गणेशोत्सव की शुरूआत हो रही है। जब बात विघ्नहर्ता सिद्धि विनायक भगवान गणेश की हो रही है, तो ऐसा हो ही नहीं सकता है कि 350 वर्ष पुराने अर्जी वाले गणेश मंदिर का जिक्र न हो। एमएलबी रोड़ फूलबाग गुरूद्वारा के सामने सड़क किनारे विराजमान यह अर्जी वाले गणेश कैसे प्रकट हुए यह तो किसी को याद नहीं है। लेकिन 42 वर्ष पहले हुई एक घटना के बाद उनका यह वर्तमान स्वरूप सामने आया है।
सालों से एक मोटे पत्थर की पूजा शहर के लोग करते थे। लेकिन 1980 में अचानक पत्थर चढ़ा लगभग 1 क्विंटल वजन का चोला अचानक झड़ गया और उसके बाद गणेश प्रतिमा अस्तित्व में आयी थी। यहां गणेश जी के साथ दोनों ओर रिद्धि-सिद्धि विराजमान है। ऐसी मान्यता है कि अगर भक्त अपनी अर्जी लगाकर 11 बुधवार पूरे कर लिये तो उसकी मनोकामना पूरी हो जाती है। अर्जी वाले गणेश जी को राजस्थान से बनकर आये मोटी बूंदी के लड्डू का ही भोग लगता है।

खास है इस मंदिर की गणेश प्रतिमा
धर्म के जानकारों की माने तो यह दुर्लभ प्रतिमा है। गणेश प्रतिमा के साथ ही रिद्धि-सिद्धि हैं जाे उनके दोनों तरफ विराजमान हैं। गणेशजी के उल्टे हाथ में विद्या है तो सीधे हाथ में फरसा। नीचे दो मूसक हैं। बहुत की कम प्रतिमाओं में यह सभी भगवान इस मुद्रा में एक साथ होते हैं। यही कारण कि यह बहुत ही सिद्धियोग वाले गणेश माने जाते हैं। यहां सच्चे दिल से मांगी गई मनोकामना पूरी होती है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *